मंत्र सकारात्मक ऊर्जा का संचार करते हैं और नकारात्मक ऊर्जा को नष्ट करते हैं मंत्रोच्चारण के बाद आप भी कई बार अपने अंदर एक आध्यात्मिक शांति महसूस करते होंगे इसका कारण यही है कि जो नकारात्मक ऊर्जा हमें अशांत रखती है वह दूर हो जाती है और उसका स्थान सकारात्मक ऊर्जा ले लेती है इन मंत्रों से न केवल साधक मात्र के मन को शांति मिलती है अपितु अपने आस पास के वातावरण में इसी सकारात्मक ऊर्जा का संचार होने लगता है मंत्र की क्षमता और साधक की सच्चे मन से की गई साधना पर ही सकारात्मक ऊर्जा का यह संचार निर्भर होता किसी भी वैदिक मंत्र में ऋषि छंद और देवता ये तीन पक्ष होते हैं इनमें ऋषि का संबंध मस्तिष्क अथवा मन या कहें दिमाग से जुड़ा होता है छंद मंत्र के जाप उसकी बनावट अर्थात रचना और ताल अर्थात लय और गति से संबंधित होते हैं तो वहीं देवता लौकिक ऊर्जा का क्षेत्र है यदि मंत्रों के गहरे अर्थ को समझा जाये तो इन मंत्रों से सही मायनों में किसी भी व्यक्ति को लाभ निश्चित रुप से पंहुच सकता है मंत्रों की ध्वनियों से किसी न किसी अभिप्राय अर्थात अर्थ जुड़ा होना चाहिये जब तक हम उसके अर्थ से अंजान हैं तब तक वह अपना काम नहीं करते मात्र किसी किताब से मंत्र को पढ़कर उसका लाभ नहीं मिल सकता उसके लिये गुरु के मार्गदर्शन में विधि विधान के साथ उसका उच्चारण किया जाना आवश्यक होता है
मंत्रोच्चारण से होती है आनंदानुभूति
जब हम किसी भी मंत्र का जाप करते हैं तो उसकी सकारात्मक ऊर्जा का अनुभव कर सकते हैं उदाहरण के लिये ॐ, गायत्री मंत्र शांतिपाठ महामृत्युंजय आदि मंत्रों को लिया जा सकता है। एक मात्र ॐ का जाप करने से ही हमारा चित शांत होने लगता है और केंद्रित भी धीरे धीरे हम अपने अंदर झांकना शुरु करते हैं एक असीम आनंद की अनुभूति भी आप कर सकते हैं
कहा जाता है किसी व्यक्ति द्वारा मंत्रों की खोज नहीं हुई बल्कि सालों साल की गई तपस्या के फलस्वरुप ऋषि मुनियों ने ये मंत्र इजाद किये वैसे ही जैसे वर्तमान युग में वैज्ञानिक नए नए आविष्का नए नए सिद्धांत खोजतें हैं एक एक आविष्कार पर कई-कई व्यक्तियों का जीवन लग जाता है उस लिहाज से हमारे ऋषि मुनियों को हम आध्यात्मिक वैज्ञानिक कह सकते हैं जिन्होंने विश्व कल्याण हेतु सकारात्मक ऊर्जा के संचार में वाहक मंत्रों की खोज की
ॐ, गायत्री मंत्र शांति पाठ और महामृत्युजय जैसे मंत्र तो मंत्रोच्चारण में भी आसान हैं और इनका अर्थ भी हर किसी की समझ में आ सकता है इसलिये यह मंत्र काफी लोकप्रिय भी हैं
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